दि ग्राम टुडे ब्यूरो
साहित्यिक एवं सांस्कृतिक विकास द्वारा मानव जीवन में समरसता भरने तथा मानवीय मूल्यों को जागृत करने के उद्देश्य से ओजस मागधी मंच निरंतर कार्यशील है। संस्था के अध्यक्ष डॉ हेरम्ब कुमार मिश्र के अनुसार लगभग दो वर्ष पूर्व इस मंच का ऑनलाइन गठन किया गया जिसके ह्वाट्सएप और फेसबुक ग्रुप से बहुत संख्या में लोग जुड़े हैं।इस मंच के माध्यम से अध्यात्म, साहित्य और संगीत के कार्यक्रम निरंतर प्रस्तुत होते हैं जिसके लिए अध्यात्म संध्या, काव्य संध्या और रसभरी संध्या जैसे कार्यक्रमों का आयोजन होता रहता है।
इन कार्यक्रमों में इच्छुक अभिभावक और उनके बच्चे भी पटल के माध्यम से प्रस्तुति देते हैं। हर सप्ताह आयोजित होने वाले काव्य संध्या में श्याम सुंदर मिश्र, परमानंद पाठक, डॉ अमरेश मिश्र, धर्मेंद्र कुमार पाठक,चन्दन पाठक, विनय मामूली बुद्धि, अनिल प्रहरी,शिवकुमार शर्मा सुशील,अनिल अनल,संजीव पाण्डेय,उमा तिवारी जैसे कई सदस्यों द्वारा सुंदर काव्य पाठ किया जाता रहा है। दूसरी ओर संगीत प्रस्तुति में अजय कुमार पाठक, प्रमोद कुमार मिश्र, राजेश कुमार मिश्र, देव कांत मिश्र दिव्य, संयुक्ता मिश्रा, विमलेश दत्त मिश्र, जितेंद्र कुमार पाण्डेय,अशोक सोहैपुरी,हरिनंदन मिश्र,गणपति मिश्र, अनुज्ञा शर्मा, श्रेया मिश्रा, श्वेता पाठक, सोनल,विकटेश,समीक्षा,शिवांगी, निर्मल,प्रवीण आदि के द्वारा बराबर ही संगीत की सुंदर प्रस्तुतियां दी जाती रही हैं। ये सभी प्रतिभागी भारतवर्ष के विभिन्न भागों से जुड़े हैं।पिछले दिनों सम्पन्न स्वस्तिवाचन एवं सुन्दरकाण्ड पाठ काफी मनमोहक रहा है जिसे लोगों तक प्रेषित करने के लिए अध्यक्ष ने मीडिया एवं प्रिंट मीडिया के प्रति आभार व्यक्त किया है।इस मंच के मुख्य संरक्षक प्रतिष्ठित साहित्यकार डॉ सुरेंद्र प्रसाद मिश्र अपनी साहित्यिक साधना द्वारा मंच को लगातार ही अपना साहित्यिक एवं सांस्कृतिक मार्गदर्शन कराते आ रहे हैं।
सचिव उदय भास्कर ने बताया कि ओजस मागधी मंच के सभी सदस्य आपस में पारिवारिक सदस्य की तरह रहते हुए एक स्नेहिल परिवेश बनाए रखते हैं जिससे मंच अपने कर्तव्यों की ओर बढ़ता जा रहा है। इस मंच पर किसी की शिकवा शिकायत या अनावश्यक वाद विवाद ना हो इसका पूरा ध्यान रखा जाता है। साथ ही,अपुष्ट संवादों पर भी सख्त मनाही है। मंच से जुड़े सदस्य स्वयं ही इस बात को समझते हैं और एक सुंदर माहौल का निर्माण करते हुए पूरे देश में सांस्कृतिक विकास के लिए संलग्न है। इस मंच पर श्री धनंजय कुमार मिश्र द्वारा प्रतिदिन दैनिक पंचांग एवं प्रभानंद मिश्र द्वारा समाचार पत्र का प्रेषण किया जाता है। मंच की अपनी एक नियमावली है, जिसका अनुपालन करते हुए सभी सदस्य कार्य करते हैं।
प्रयासों की निरंतरता के कारण सम्प्रति उत्तर प्रदेश, दिल्ली, छत्तीसगढ़, झारखंड, राजस्थान, बिहार और दिल्ली में इस मंच की इकाई गठित हो चुकी है जो लगातार ही आध्यात्मिक, साहित्यिक और सांगीतिक प्रचार प्रसार में लगी है।
कोरोना काल से वर्तमान तक की यात्रा में इस मंच के द्वारा विविध आयोजन होते रहे हैं जिससे यह साहित्यिक एवं सांस्कृतिक पहचान लेकर सोशल मीडिया द्वारा राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय रूप में स्थापित होता जा रहा है।
डॉ हेरम्ब कुमार मिश्र के अनुसार साहित्य, कला एवं संस्कृति के विकास का उद्घोष करते हुए इस मंच द्वारा नित्य ही नए प्रयोग के प्रयास किए जा रहे हैं ताकि साहित्यिक एवं सांस्कृतिक आवाज जन जन तक पहुंचाई जा सके। उसी की कड़ी में प्रसारित होने वाला फेसबुक लाइव कार्यक्रम ने इधर कुछ दिनों से लोगों को काफी आकर्षित किया है। इस पटल द्वारा रविवार, मंगलवार एवं गुरुवार को रात्रि आठ बजे से अध्यात्म, साहित्य व संगीत का फेसबुक पर सीधा प्रसारण किया जाता है और दूर-दूर तक सांस्कृतिक एवं साहित्यिक आवाज दी जाती है। संस्था के अध्यक्ष डॉ मिश्र स्वतः इस लाइव प्रसारण के संचालक होते हैं जिसमें राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर के साहित्यकार और मोटिवेशनल स्पीकर उनके साथ जुड़ते हैं। गत रविवार को हुए कार्यक्रम में झारखंड के कवि रामप्रवेश पंडित का कार्यक्रम बहुत ही सराहनीय रहा है और 24.08.2021 मंगलवार को रात्रि 8.00 बजे लाइव प्रसारण में गोंडा, उत्तर प्रदेश से ख्यातिलब्ध साहित्यकार सुधीर श्रीवास्तव जुड़ रहे हैं।
मंच के सचिव उदय भास्कर के अनुसार इस लाइव प्रसारण से कार्यक्रम प्रस्तुत करने के लिए विविध प्रांतों से प्रस्ताव आ रहे हैं जो मंच के लिए गर्व की बात है और हम कामना करते हैं कि उनके सहयोग से साहित्य और कला की सेवा में मंच को काफी हद तक सफलता मिलेगी।कौशल मिश्र, प्रो. मुकुंद वत्स, डॉ सुदामा मिश्र, विमलेश दत्त मिश्र, गणपति मिश्र, सरोज पाण्डेय,रविंद्र पाठक, सोम प्रकाश मिश्र, समता पाठक, परमानंद पाठक, धीरेंद्र शर्मा, राधेश्याम मिश्र, आनंद मोहन मिश्र, संजय कुमार मिश्र, जितेंद्र कुमार पाण्डेय,बालमुकुंद मिश्र, गणेश दत्त मिश्र, आदि कई ऐसे सदस्य हैं जो मंच के कार्यक्रमों को प्राथमिकता देते हुए हमेशा सहयोग में लगे रहते हैं। कार्यक्रमों में आयोजित होने वाले सभी प्रतिभागियों को मंच की ओर से सम्मानित किया जाता है। आशा है, आने वाले समय में यह मंच साहित्य एवं संगीत के प्रचार प्रसार में अपने विविध आयामों के माध्यम से संलग्न होकर आगे बढ़ता रहेगा जिसकी साहित्यिक और सांस्कृतिक उपलब्धि लोगों के लिए अत्यंत लाभदायक सिद्ध होगी।