अनिता मंदिलवार 'सपना
पहली बार
दिल में
उठे जज्बात
दिल के
एहसास ने
सपना के
आशियाने में
सात रंग सजाये ....
सांसों की
खुशबुओं से
महक उठे
चाँदनी रात
जूही की
पलकों में
चाँदनी रातों
का ख़्वाब
तन्हाइयों के साथ
मन में
हँस देंगे
कितने गुलाब
मेरे आइने में आना
कहूँगी
दिल की बात...........!