होली गीत

 



गाल पर मलिके गुलाल
देवरा सतावे दुपहरिया
गाल पर मलिके गुलाल--


पनिया भरन के गइनी पोखरवा, 
बगदल पछुआ खिंचलस अँचरवा। 
जियल भइल बा मोहाल हो
जियल भइल बा मोहाल
देवरा सतावे दुपहरिया
गाल पर मलिके गुलाल --


भँवरन के जस मेंड़ड़ाय ननदोइया, 
जल्दी  से गाड़ी  धई ल हो  सईंया। 
फगुनहटा छिलताटे छाल हो 
फगुनहटा छिलताटे छाल
देवरा सतावे दुपहरिया
गाल पर मलिके गुलाल --


पिया पैनाली दरद मोरा बुझऽ, 
टपकत मदन रस आई के लूझऽ। 
मन मोरा भइल बेहाल हो, 
आरे मन मोरा भइल बेहाल
देवरा सतावे दुपहरिया
गाल पर मलिके गुलाल -----


दिलीप पैनाली


Popular posts
अस्त ग्रह बुरा नहीं और वक्री ग्रह उल्टा नहीं : ज्योतिष में वक्री व अस्त ग्रहों के प्रभाव को समझें
Image
दि ग्राम टुडे न्यूज पोर्टल पर लाइव हैं प्रो आराधना प्रियदर्शिनी जी हजारीबाग झारखंड से
Image
पितृपक्ष के पावन अवसर पर पौधारोपण करें- अध्यक्ष डाँ रश्मि शुकला
Image
ठाकुर  की रखैल
Image
दि ग्राम टुडे न्यूज पोर्टल पर लाइव हैं यमुनानगर हरियाणा से कवियत्री सीमा कौशल
Image